35 घंटे में 25 शहीद |
झारखंड के रिम्स में जूनियर डॉक्टर, नर्स और पैरा मेडिकल स्टाफ ने 35 घंटे की हड़ताल की . जिसके चलते 3525 मरीजों की मौत हुई . और 2,000 से ज्यादा मरीज बिना इलाज वापस लौट गए . झगड़ा मामूली बात पर शुरू हुआ था. लेकिन उसने आंदोलन का बड़ा रूप ले लिया. रिम्स के स्टाफ की कई मांगे थी जो पिछले कई महीनों से सरकार के पास पड़ी हुई थी . वह मांगे भी इस हड़ताल में जुड़ गई. 25 मरीज मरने के बाद सरकार की नींद खुली. हड़तालियों से बातचीत कर हड़ताल समाप्त कर दी गई. क्यों सरकार रिम्स के स्टाफ का मिजाज नहीं भाप पाई ? क्यों हड़ताल पर उतरे डॉक्टर ? उन 25 मरीजों की मौत का जिम्मेदार कौन ? इन तमाम सवालों के जवाब जानने के लिए देखिए खबरों के पीछे खबरें धोबी घाट पर अशोक वानखेड़े के साथ.
The junior doctors, nurses and paramedical staff went on strike at RIIMS for 35 hours as a result 25 patients lost their life. 2000 went back untreated. The RIIMS staff was having the list of demand which governm3bt never looked at. A small incidence provoked the strike and 25 died. The government accepted all the demands and ended the strike. Why government neglected the demands? Why Dr went on strike? Who is responsible for the deaths? To get the answers to these questions watch Khabar Ke Pichhe Ki Khabar on Dhobighat with Ashok Wankhede.